बस्ती । प्रगतिशील समाजवादी पार्टी लोहिया की ओर से मंगलवार को न्याय मार्ग स्थित पार्टी कार्यालय पर प्रखर समाजवादी पूर्व केन्द्रीय मंत्री राजनारायण को उनके पुण्य तिथि पर याद किया गया।
प्रसपा नेता डॉ. अजय पाण्डेय ने राजनारायण जी के योगदान पर प्रकाश डालते हुये कहा कि समाजवाद उनके जीवन में रच-बस गया और ये एक बड़े समाजवादी नेता के रूप में राष्ट्रीय क्षितिज पर उभरकर आए. 1952-1957 और 1957 से 1962 तक राजनारायण जी उत्तर प्रदेश विधानसभा के सदस्य रहे। उत्तर प्रदेश विधानसभा में प्रतिपक्ष के प्रथम नेता के तौर पर उन्होंने अमिट छाप छोड़ी, आजादी के बाद लोकतंत्र में लोकभाव की स्थापना कैसे हो, इसको प्रतिपक्ष के नेता के रूप में उन्होंने मूर्त रूप दिया। डॉ लोहिया ने तो उनके बारे में यहां तक कहा था कि राजनारायण के जीते जी इस देश में लोकतंत्र मर नहीं सकता। 1966 से 1972 और 1974 से 1977 तक दो बार राज्यसभा के सदस्य रहे राजनारायण ने संसदीय जीवन के मूल्यों को बखूबी निभाया। आज जब राजनीति संक्रमण काल से गुजर रही है, हमें उनके जीवन से प्रेरणा लेनी चाहिये।
समाजवाद के पुरोधा राजनारायण के जीवन वृत्त पर मुख्य रूप से विजय यादव, एबादुलहक, विपिन सिंह, विशाल गौड़ ने प्रकाश डाला। लवकुश गौड़, अश्विनी गौड़, वृजेश दूबे, चन्द्र प्रकाश यादव, सुभाष यादव, विपिन त्रिपाठी, पंकज सिंह, राजू पाण्डेय, अश्विनी गौड़, चन्द्रभान गौड़, अभिजीत गौड़, आदित्य, आशुतोष जायसवाल आदि शामिल रहे।