मैनपुरी। मैनपुरी के बिछवा थाना क्षेत्र में 5 जुलाई 2019 को एक दर्दनाक घटना हुई थी जिसने पुलिस व्यवस्था पर सवाल खड़ा कर दिया था। इलाके के नेशनल हाईवे जीटी रोड पर दलित दंपति जा रहे थे कि रास्ते में बदमाशों ने पति से मारपीट की और पत्नी का अपहरण कर ले गए। इधर पति बिछवा थाने पहुंचा तो वहां तैनात इंस्पेक्टर राजेश पाल ने उसके साथ अभद्र बर्ताव किया और पत्नी की हत्या करने का आरोप लगाकर तीन पुलिसकर्मियों ने उसे पीटा। उधर बदमाशों ने पत्नी के साथ गैंगरेप किया और उसके बाद पीड़िता के लौटने पर मामले का खुलासा हुआ। इसके बाद पुलिस इंस्पेक्टर राजेश पाल और अन्य तीन पुलिसकर्मियों के खिलाफ थाना कुरावली में पति से मारपीट के संबंध में केस दर्ज किया गया था। इस केस में पुलिस प्रशासन से इंस्पेक्टर को क्लीन चिट मिल जाने के बाद सियासत गरमा गई है। स्थानीय सपा-बसपा नेताओं ने इंस्पेक्टर को सस्पेंड कर उसकी गिरफ्तारी की मांग की है।
यूपी के जनपद ओरैया निवासी अपनी पत्नी के साथ बाइक पर जीटी रोड से जा रहे थे कि रास्ते में ईको कार से बदमाशों ने उनको टक्कर मार दी। उन्होंने पहले दंपति से मारपीट की, इसके बाद पत्नी का अपहरण कर जनपद एटा की तरफ चले गए। इधर पत्नी के अपहरण की शिकायत लेकर पीड़ित बिछवा इंस्पेक्टर राजेश पाल के पास पहुंचा तो उन्होंने कहा कि तू अपनी पत्नी को मारकर झूठी रिपोर्ट लिखाने के लिए आया है। पीड़ित का आरोप है कि इंस्पेक्टर और तीन सिपाहियों ने उसके साथ मारपीट की। थाना कुरावली ले जाकर पीड़ित के साथ फिर मारपीट की गई जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया। जुल्म कर पुलिसवालों ने घायल पति को हवालात में बंद कर दिया।
जब पीड़ित की पत्नी बदमाशों के चंगुल से छूटकर वापस लौटी तो फिर उसने बताया कि उसके साथ गैंगरेप की वारदात हुई है। मामला सामने आते ही पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया और बिछवा थाना इंस्पेक्टर राजेश पाल और तीन सिपाहियों को सस्पेंड कर उनके खिलाफ केस दर्ज कर लिया गया। अपने ऊपर कार्रवाई देख इंस्पेक्टर राजेश पाल फरार हो गया। गिरफ्त में न आने पर पुलिस ने फरार इंस्पेक्टर के खिलाफ कुर्की-जब्ती की कार्रवाई भी की। इसके बाद भी अब जांच के बाद इंस्पेक्टर राजेश पाल को नई तैनाती दे दी गई है। दीवानी परिसर में ड्यूटी पर तैनात राजेश पाल को लेकर अब पुलिस व्यवस्था पर सवाल उठने लगे हैं कि आखिर किस आधार पर उसको क्लीन चिट देकर नई तैनाती दी गई?
सपा विधायक बृजेश कठेरिया और बसपा नेताओं ने पीड़ित दंपति के साथ डीएम ऑफिस जाकर जिलाधिकारी को इस मामले में शिकायती पत्र देते हुए इंस्पेक्टर राजेश पाल को निलंबित कर गिरफ्तारी और उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग की। पीड़ित पति के मुताबिक, डीएम ने उनको कार्रवाई का आश्वासन दिया है। पीड़ित ने बताया कि इंस्पेक्टर राजेश पाल उनको धमकी देते हैं और पैसा लेकर समझौता करने को कहते हैं।